सरकारी विभागों और
उद्योगों पर बिजली के 59 करोड़ बकाया
-जयसिंह रावत
आम उपभोक्ता अगर बिजली
के बिलों का
समय से भुगतान
न कर पाये
तो कुछ सौ
या एक दो
हजार की बकाया
रकम के लिये
ही उनके कनेक्शन
काट कर घरों
में अन्धेरा कर
दिया जाता है।
लेकिन सरकार के
अपने ऐसे विभाग
और उपक्रम हैं
जो उत्तराखण्ड पावर
कारपोरेशन के बिजली
के बिलों की
करोड़ों की रकम
दबाये बैठे हैं,
ऊपर से तुर्रा
ऐसा कि पावर
कारपोरेशन न तो
उनसे वसूली कर
पा रहा है
और ना ही
उनके कनेक्शन काटने
की हिम्मत जुटा
पा रहा है।
सरकारी विभाग ही नहीं
बल्कि कुछ बड़े
उद्योगों भी बिजली
के 20 करोड़ से
ज्यादा के बकाया
बिल दबाये बैठे
हुये हैं।
उत्तराखण्ड
पावर कारपोरशन के
लोक सूचना अधिकारी
से मिली जानकारी
के अनुसार कुछ
सरकारी विभागों और उद्योगों
पर कारपोरेशन के
बिजली बिलों की
57,99,62,907 रुपये की रकम
बकाया है। सूचना
के अधिकार के
तहत मिली जानकारी
के अनुसार कारपोरेशन
के बड़े बकायादार
सरकारी विभागों पर 37,56,91,548 रुपये
के बिल बकाया
हैं। इनमें सबसे
बड़ा बकायादार उत्तराखण्ड
जल संस्थान है
जिस पर 19,11,01,548 रुपये
के बिल बकाया
हैं। इनमें रामनगर
नैनीताल, अल्मोड़ा, पौड़ी, श्रीनगर
और कोटद्वार के
अधिशासी अभियंता शामिल हैं।
पेयजल निगम के
कोट-झण्डी डिविजन
पर भी बिजली
का 22,010,114 रुपया बकाया है।
इनके अलावा गंगा
प्रदूषण नियंत्रण ऋषिकेश पर
4,39,21,706 और बनबसा बैराज टनकपुर
पर 5,54,89,274 रुपये की रकम
बकाया है।
सूचना के अधिकार
के तहत मिली
जानकारी के अनुसार
कुछ बडे़ उद्योगों
ने भी ऊर्जा
निगम के करोड़ों
रुपये के बिलों
का भुगतान करना
है। इनमें से
श्री श्याम पल्प
एण्ड बोर्ड मिल,
काशीपुर पर 9,22,16,834, मै0 बी.टी.सी.
इण्डस्ट्रीज प्रा. लि. किच्छा
पर 4,31,42,821रुपये, मै0 एमआइआरसी
इलैक्ट्रॉनिक लि. रुड़की
पर 2,06,83,095 रुपये, मैं. उत्तरांचल
आइरन एण्ड इस्पात
कोटद्वार पर 1,76,37,839 रुपये, मै0 श्रृष्टी
स्टील इंडस्ट्रीज काशीपुर
पर 72,81,100 रुपये, मै0 एनटीपीसी
एन्मथ, जोशीमठ पर 70,64,933 रुपये
मै0 साई इंटरप्राइजेज
रुद्रपुर पर 46,59,573 रुपये, प्रबंधन गढ़वाल
मण्डल विकास निगम
जोशीमठ पर 41,00,421 रुपये, मै0 जिन्दल
रिफाइनरीज लि. काशीपुर
पर 37,53,129रुपये और मै0
जीएम आइडीपीएल, ऋषिकेश
पर 37,31,614 रुपये की बकाया
है, जो कि
लम्बे समय से
वसूल नहीं हो
पा रही है।
उत्तराखण्ड
के पूर्व मुख्यमंत्रियों
से राज्य सरकार
अदालत के आदेश
पर बंगले तो
खाली करा लेगी
मगर उन बंगलों
पर बिजली के
बिलों का जो
लगभग 59 लाख का
बकाया है उसे
कौन और कैसे
वसूला जायेगा, यह
सवाल उत्तराखण्ड पावर
कारपोरेशन के लिये
चिन्ता का विषय
बना हुआ है।
यह रकम तो
केवल 4 पूर्व मुख्यमंत्रियों पर
है इसमें विजय
बहुगुणा के बीजापुर
हाउस स्थित बंगले
का बकाया शामिल
नहीं है। इस
बकाया राशि को
ये पूर्व मुख्यमंत्री
अदा करने को
तैयार हैं मगर
राज्य सम्पत्ति विभाग
ने भी इससे
साफ तौर पर
पल्ला झाड़ दिया
है।
उत्तराखण्ड
पावर कारपोरेशन से
प्राप्त जानकारी के अनुसार
पूर्व मुख्यमंत्री नारायण
दत्त तिवारी के
वन अनुसंधान संस्थान
के अहाते में
स्थित बंगले के
कनेक्शन संख्या एसडी 26152108777 का
1,09,513 रुपया तथा कनेक्शन
संख्या एसडी 26152108776 रुपये का 12,27,209 रुपये
के बिल बकाया
हैं। इसी तरह
पूर्व मुख्यमंत्री रमेश
पोखरियाल निशंक पर सर्किट
हाउस एनेक्सी के
कनेक्शन संख्या 25536 का 27,52,996 रुपये का बिल
लम्बे समय से
बकाया चल रहा
है। निशंक पर
ही यमुना कालोनी
स्थित सरकारी बंगला
संख्या आर-4 के
मीटर संख्या सी
23177 के बिल का
301509 रुपये बकाया भी चढ़ा
हुआ है। उसी
यमुना कालोनी में
भुवन चन्द्र खण्डूड़ी
को ए-1 तथा
ए-2, दो बंगले
आवंटित किये गये
हैं। इन पर
कनेक्शन संख्या सीडी 12702120539 तथा
संख्या सीडी 12702120538 लगे हुये
हैं। इन दो
बंगलों पर बिजली
का 4,83,760 रुपये बकाया है।